हे नव वर्ष
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1.
हे नव वर्ष
आख़िर आ ही गए,
पर जल्दी क्यों?
2.
उम्मीद जगी-
अच्छे दिन आएँगे
नव वर्ष में।
3.
मन से करो
इस्तक़बाल करो
नव वर्ष का।
4.
पिछला साल
भूलना नहीं कभी,
मिली जो सीख।
5.
प्रेम ही प्रेम
नव वर्ष कामना,
सब हों सुखी।
- जेन्नी शबनम (1. 1. 2019)
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2 टिप्पणियां:
सार्थक
अनुपम कामनाओं का सृजन
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